रायगढ (सृजन न्यूज़)। जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अनिल शुक्ला ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया कि जिले की कालीछापर साइडिंग में कोयले के कारोबार में लगे व्यवसायी कोल परिवहन के समय भारी मात्रा में छाई और चारकोल मिलाकर साइडिंग कर्मियों तथा प्रशासनिक लोगों से सांठगांठ कर बिना कोयला उतारे ही पेपर रसीद ले लेते हैं। इसके बाद अवैध तरीके से कोयले को साइडिंग से प्लान्ट में भेज दिया जाता है, जिससे सरकार को करोड़ों की राजस्व हानि हो रही है।
कांग्रेस नेता का दावा है कि इस घोटाले की प्रक्रिया इतनी शातिरता से हो रही होती है कि किसी को गड़बड़झाले की भनक नहीं लगती, क्योंकि जितना कोयला साइडिंग में बिना गिराए प्लान्टस में भेजा जाता है उसके बराबर वजन का चारकोल मिलाते हुए तौल हिसाब बराबर कर दिया जाता है। इस प्रकार कोल कारोबारी जहां कोयले में चारकोल मिलाकर रेलवे बैगनों के जरिये बाहर भेज रहे हैं, साथ ही चारकोल व छाई साइडिंग में डंप भी कर रहे है और उसे कोयले में मिलाकर बैगन के जरिये अन्यत्र प्लांटस में भी भेजा जा रहा है।
अनिल शुक्ला ने कहा कि इस पूरे कोल घोटाले का खेल बिना किसी प्रशासनिक सहयोग के सम्भव ही नहीं है। कोल कारोबारी किसी प्रकार के संदेह से बचने के लिए जो शातिरता अपनाते हैं, वह कमाल का हैरत में डालने वाला होता है। इसमें बैगन के भराव में ऊपरी हिस्से में कोयला और नीचे छाई लोड कर दी जाती है। इससे एक ओर वजन भी बढ़ जाता है, वहीं प्लांट में जांच के दौरान भी ये पूरा कोयला ही नजर आता है, साथ ही साइडिंग से इस कोयले को बिना वैध चालान के ही स्थानीय प्लांटों तक पहुंचाने का ये सिलसिला अरसे से निर्बाध रूप से चल रहा है।
जिला कांग्रेस अध्यक्ष अनिल शुक्ला ने इस गम्भीर मसले को लेकर उच्चस्तरीय जांच करवाने और इन अवैध कोल कारोबारियों के साथ संलिप्त प्रशासनिक कर्मचारियों रेलवे के साइडिंग इंचार्ज पर कार्यवाही की पुरजोर मांग की है, साथ ही सरकार को होने वाली राजस्व हानि के जिम्मेदार लोगों पर आपराधिक मामले कायम कर इस षड्यंत्र से जुड़े सभी लोगोँ को सलाखों के पीछे भेजने की भी मांग की है।

