डोंगरगढ़/रायपुर (सृजन न्यूज)। वन विभाग के दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों के हड़ताल ने रफ्तार पकड़ ली है। छत्तीसगढ़ दैनिक वेतनभोगी वन कर्मचारी संघ 9 सूत्रीय मांगों को लेकर 4 रोज से अनिश्चितकालीन हड़ताल में बैठकर दहाड़ रहे हैं।
छत्तीसगढ़ के सभी जिले के कोने-कोने से दैनिक वेतनभोगी, वाहन चालक, कम्प्यूटर आपरेटर, कार्यालय सहायक दैनिक श्रमिक, सुरक्षा श्रमिक, तेंदूपत्ता गोदाम सुरक्षा श्रमिक हड़ताल में शामिल होने तुता धरना स्थल में पहुंचे। हड़ताल में लगभग 5,000 हजार दैनिक वेतनभोगी डटे रहे। कल से दैनिक वेतनभोगी कर्मचारी श्रमिक भूख हड़ताल में बैठे। अब एसडीएम से लेकर मुख्यमंत्री, उप मुख्यमंत्री, वनमंत्री, वित्तमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा गया।
ज्ञापन में नियमितीकरण, स्थायीकरण, कार्यभारित आकस्मिकता सेवा नियम सेवा लागू करने, वेतन विसंगती, कार्य से पृथकीकरण, लंबित वेतन भुगतान, महासमुंद वनमंडल में 82 लोगों के लिये स्वीकृति प्रदान न कर भुगतान नहीं करना सहित अन्य मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल में डटे हैं। कर्मचारियों को वनमंत्री से उम्मीद हैं कि वे उनके भविष्य के बारे में अच्छे और उचित निर्णय लेते हुए नियमितीकरण, स्थायीकरण, या आकस्मिक कार्यभारित सेवा नियम लागू करेंगें। चूंकि, वनमंत्री हमेशा बस्तर के विकास के लिये तत्पर हैं इसलिए वे बस्तरिया लोगों के हित के लिये कारगर फैसला जरूर लेंगे।
इस दौरान जिला अध्यक्ष विकास पटेल, कोषाध्यक्ष अमित तुमाने, श्रीमती प्रियंका शुक्ला, कृष्णा देवांगन, चमरूराम गुरूवर, गिरधर जैन, दीपक नाग, अजय यादव, श्यामली कर्मकार, देवदास भारती सहित काफी संख्या में बस्तरिया दैनिक वेतनभोगी हड़ताल में शामिल हुए।